सब्जी विक्रेताओं की तानाशाही या नगर परिषद की लापरवाही क्या कहे.. .?
सड़को पर अतिक्रमको का कब्जा चारो ओर अतिक्रमण सब्जी की दुकानें बेतरतीब सड़को पर ओर सब्जी मंडी लावारिश होकर जनता हो रही बेहाल न तो प्रशासन को चिंता न सीएमओ को अव्यवस्थाओ का बोलबाला .....
अब तो अपने अधिकार का उपयोग कर कर्त्तव्य पूरा करोगे या.......?
गजेन्द्र माहेश्वरी
नीमच :- नगर परिषद के तत्कालीन अध्यक्ष समरथमल पटवा ने स्थानीय बस स्टेण्ड की व्यवस्था व्यवस्तिथ करने व रोड़ो पर शब्जी की दुकान लगाकर आवागमन को बाधित करने वालो को व्यवस्था देकर अच्छी जगह बिठाने हेतु बस स्टेण्ड के समीप ही शब्जी मंडी का निर्माण करवाया गया था। जिसमे 9 दुकाने ओर 69 चबूतरों का निर्माण कर नीलाम किया जिससे नगर परिषद को 01 करोड़ 80 लाख की आय हुई । वही नगर वासियो ने राहत की सास ली कि अब रोड़ो पर पसरा अतिक्रमण हट कर आवागमन में किसी भी प्रकार की कोई परेशानियों का सामना नही करना पड़ेगा। यह सोचना नगरवासियो की भूल साबित हुई नगर परिषद की लापरवाही के कारण...
नगर में सब्जी मंडी को बने हुए 4 साल से भी अधिक समय हो गया है उसके बावजूद भी नगर परिषद कुकड़ेश्वर सब्जी वालों को सब्जी मंडी में बिठाने में नाकाम साबित हुई । जिसकी वजह से आज पूरा बस स्टैंड जैसे पूर्व में था वैसा असज भी बल्कि उससे ज्यादा अतिक्रमण की चपेट में है।
नगर परिषद ने बस स्टैंड पर कुशाभाऊ ठाकरे काम्प्लेक्स बना रखा है जिसमें सभी तरह की दुकान है, जहां एक और होटल वाले ने टीन सेट लगा कर आगे खड़े पौधे तक अपनी दुकान बढ़ा दी जिससे वहां लगे पौधे की छांव का लाभ किसी भी बैठने वाले को नहीं मिल पा रहा है दूसरी ओर उसी दुकानदार ने अपनी दुकान के आगे एक गुमटी लगाकर अतिक्रमण कर लिया है । वही अन्य लोगो ने अपनी ठेलागाड़ीया फल फ्रूट की लगा ली है जिसके चलते बस स्टैंड पर यात्रियों को खड़े होने की जगह से भी मरहूम कर रहे हैं। यात्री बस में चढ़ सके और उतर सके उतनी ही जगह है वहां पर जो कभी भी दुर्घटना का कारण बन सकती हैं।
नगर के गौरव और भारतीय जनता पार्टी के पितृ पुरुष एवं प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री रहे पद्मा विभूषण स्वर्गीय सुंदरलाल जी पटवा की 70 लाख रुपए की लागत से बस स्टैंड पर एक भव्य स्मारक बनाया गया वह भी सब्जी विक्रेताओं की अव्यवस्थित दुकानो के अतिक्रमण की चपेट में आने से अपनी छवि खो रहा है। दिन भर उसके आसपास सब्जी की दुकान है लगी रहती है उसके कारण वहां आने जाने वाले को भी काफी परेशानियों का सामना तो करना ही पड़ता है वह अंदर जाकर ना तो स्मृतियों को पढ़ पाता है
नहीं बाहर सड़क से कुछ देख पाता है। नगर परिषद की लापरवाही के चलते भव्य स्मारक को भी अतिक्रमणकारियों ने अपने कब्जे में ले लिया है। नगर परिषद की निष्क्रियता से पूरा बस स्टैंड सब्जी विक्रेताओं अन्य दुकानदारों के अतिक्रमण की भेंट चढ़ गया है। नगर परिषद को तो केवल बाजार वसूली से मंतलब है। जबकि बस स्टैंड के पास पटवा स्मारक के आसपास दोनों ओर से आम रास्ते हैं किंतु सब्जी विक्रेताओं ने अतिक्रमण कर एक मार्ग को पूर्णता बंद कर दिया है। बची खुची थोड़ी बहुत कसर वहां के दुकानदारों ने भी अपनी दुकानों का आगे दुकानो का सामान बाहर रखकर पूरा कर दिया। यही नहीं बस स्टैंड के भारतमाता चौराहे तक सब्जी विक्रेताओं फल विक्रेता व अन्य दुकानों की वजह से अतिक्रमण पसरा है ऐसा लगता है जैसे सरकारी जमीन नही होकर अपनी मिल्कियत हो, जहां मर्जी वहां अतिक्रमण कर दुकानों के आगे की जगह गन्ने की चरखी वालों को किराए पर दे दिए है। सूत्रों की मानें तो चर्चा यह भी है कि परिषद ने भी बड़ी रकम लेकर गन्ने की चरखी वालो को व्यवसाय करने की खुली छूट दे दी है जिससे हालत दयनीय हो गई है।
यही स्थिति रामपुरा रोड की भी है जहां पर नगर परिषद ने दुकानदारों के लिए 33 सेट की दुकानें बनाकर दि है, दुकानदारों ने उनके आगे छप्पर बनाकर अतिक्रमण कर लिया है और उधर भी गन्ने की चरखी वालों ने अच्छा खासा अतिक्रमण कर लिया है, जिससे मेन रोड सकड़ा हो गया साथ ही दुर्घटना का भय भी बढ़ गया है, किंतु प्रशासन एवं नगर परिषद के अधिकारी मूकदर्शक बने हुए हैं ।
यही स्थिति मनासा रोड की भी है जहां एक दुकान के आगे एक और गन्ने की दुकान की चरखी लगाकर रोड को सकड़ा करने में कोई कमी नहीं रखी है। नगर के उत्तर स्थित सहस्त्र मुखेश्वर महादेव तालाब के पास गायरी चौक की हालत भी दयनीय है यह मार्ग भी काफी व्यस्त रहता है वही से साकरिया खेड़ी कंजार्डा मार्ग जाता है वही भोलेनाथ के दर्शन के लिए लोग आते जाते रहते हैं जिसकी वजह से यहां पर यातायात का दबाव बना रहता है ,किंतु प्रशासन की अनदेखी के चलते चौराहे पर व्हहन अव्यवस्थित खड़े कर दिए जाते हैं
जिससे दुर्घटना का भय बना रहता है। एक और नगर को सुंदर बनाने के लिए नगर परिषद द्वारा भारतमाता चौराहे के यहां शिव सहस्त्र मुखेश्वर महादेव व जैनियों के 24 वें तीर्थंकर भगवान पार्श्वनाथ के नाम से दो गेट बना रखे हैं वहीं गेट से बस स्टैंड तक व्यवस्तिथ डिवाइडर बना रखें है किंतु बस स्टैंड पर यात्रियों के लिए कोई जगह नहीं है यहाँ दोनों और से यात्रियों को तो किसी की दुकान के सामने जाकर खड़ा होना पड़ता है या फिर धूप में खड़ा होना पड़ता है बस स्टैंड पर दोनों ओर यात्री प्रतिक्षालय ना होने से यात्रियों को गर्मी की गर्मी से जूझना पड़ता है तो वही बरसात में पानी की वजह से परेशान होना पड़ता है। बस स्टैंड पर नगर परिषद द्वारा शुद्ध पानी की व्यवस्था भी नहीं कर रखी है जिसे भी यात्रियों को पीने के लिए पानी के लिए तरसना पड़ता है ओर इधर उधर भटकना पड़ता है।
सब्जी विक्रेताओं का कहना है कि सब्जी मंडी में जो चबूतरों का निर्माण करवाया गया वह सही नही है जमीन से काफी ऊंचे ओटले बनाये है जिस पर चढ़ने में दिक्कत आती है इसलिए वहा नही बैठ रहे है।
जिला प्रशासन को इस ओर ध्यान देकर सब्जी मंडी में सब्जी विक्रेताओं को बिठाने ओर अतिक्रमको के अतिक्रमण शख़्ति से हटाने की कार्यवाही कर नगर के लोगो के साथ ही यात्रियों को भी परेशानी से मुक्ति दिलाई जाने की ठोस कार्यवाही करनी चाहिये ।
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