हाईटेक ड्रोन की निगरानी में होगी 3 दिसंबर को मतगणना Counting of votes will take place on December 3 under the surveillance of hi-tech drones.

 हाईटेक ड्रोन की निगरानी में होगी 3 दिसंबर को मतगणना

कलेक्टर की उपस्थिति में अत्याधुनिक ड्रोन के संबंध में रिफ्रेशर ट्रेनिंग का हुआ आयोजनड्रोन के माध्यम से पानी की बोतलें, आंसू गैस के गोले व मार्कर स्याही छोड़कर किया गया परीक्षण 

कलेक्टर की उपस्थिति में अत्याधुनिक ड्रोन के संबंध में रिफ्रेशर ट्रेनिंग का हुआ आयोजनड्रोन के माध्यम से पानी की बोतलें, आंसू गैस के गोले व मार्कर स्याही छोड़कर किया गया परीक्षण

  बुरहानपुर। आपदा की स्थिति, कानून व्यवस्था, वन सुरक्षा सहित अन्य महत्वपूर्ण कार्यो में आवश्यकतानुसार अत्याधुनिक ड्रोन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करने के लिए जिला प्रशासन तैयार है।

कलेक्टर की उपस्थिति में अत्याधुनिक ड्रोन के संबंध में रिफ्रेशर ट्रेनिंग का हुआ आयोजनड्रोन के माध्यम से पानी की बोतलें, आंसू गैस के गोले व मार्कर स्याही छोड़कर किया गया परीक्षण

 हाईटेक ड्रोन आपदा जैसी स्थिति में फंसे नागरिकों तक पानी, दवाईयाँ, खाद्य पदार्थ आदि सुविधायें पहुँचाने में मदद करेगा, साथ ही जिले में पहली बार हाईटेक ड्रोन के माध्यम से मतगणना स्थल की निगरानी एवं सुरक्षा व्यवस्था पर ध्यान दिया जाएगा।

कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी सुश्री भव्या मित्तल ने जानकारी देते हुए बताया कि, अत्याधुनिक ड्रोन के संचालन हेतु दलों को प्रशिक्षित किया जा रहा है। लेख है कि, आज कलेक्टर सुश्री भव्या मित्तल की उपस्थिति में जिले के सभी ड्रोन संचालन के लिए रिफ्रेशर ट्रेनिंग एवं परीक्षण किया गया।

 यह रिफ्रेशर ट्रेनिंग जिला पुलिस ग्राउण्ड में आयोजित रही। इस अवसर पर आज 4 ड्रोन की टेस्टिंग एक साथ की गई है। ड्रोन को अपडेट किया गया है, जिससे उसकी पेलोड केपेसिटी बढ़ी हैं एवं उसका वजन भी कम हुआ है।

अपडेटेड ड्रोनों से एक के बाद एक आंसू गैंस के गोले, पानी की बोतल और मार्कर स्याही को जमीन पर गिराकर परीक्षण किया गया। कानून व्यवस्था के दौरान अत्याधुनिक ड्रोन के माध्यम से मार्कर स्याही छोड़ी जा सकेंगी। जिससे संदिग्ध व्यक्तियों की पहचान करने में मदद मिलेंगी। आज से दो दिवस तक वन विभाग, पुलिस विभाग एवं राजस्व विभाग के कर्मचारियों को ट्रेनिंग दी जा रही है। 

आगामी दिवसों में साप्ताहिक कक्षायें एवं फील्ड ट्रेनिंग भी दी जायेंगी, ताकि जिला प्रशासन हाईटेक ड्रोन का इस्तेमाल आसानी से कर सकें। आवश्यकता पड़ने पर यह अत्याधुनिक ड्रोन मददगार साबित होगा। रिफ्रेशर ट्रेनिंग में दलों को ड्रोन संचालन की बारीकियां सिखायी गई।

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